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Arshad Madani

The Supreme Court's Judgment on bulldozers is a victory for secularism


جج نہیں بن سکتی سرکار، حکومتوں کے ہاتھوں انسانی حقوق کی پامالی پر سپریم کورٹ کا سخت تبصرہ

جمعیةعلماءہند کی ایک اور بڑی کامیابی :


سپریم کورٹ نے کہا کہ بلڈوزر چلا کر کسی کا گھر توڑنا جرم کی سزا نہیں ہے۔ حکومت جج بن کرملزم کے گھر کو بلڈوز رسے توڑنے کا فیصلہ نہیں دے سکتی۔ قانونی اور غیر قانونی ہونے کا تعین عدلیہ ہی کرے گی۔بلڈوزر کارروائی کے خلاف جمعیةعلماء ہند کی عرضی پر آج سپریم کورٹ نے سنایا اہم فیصلہ۔ غیر قانونی بلڈوزر کاروائی پر قدغن لگانے والے سپریم کورٹ کے فیصلے کا خیر مقدم ھے امید ہے کہ سپریم کورٹ کی سخت ہدایتیں بلڈوزر کارروائی پر قدغن لگائیں گی۔..


जमीयत उलेमा हिंद की एक और बड़ी उपलब्धि

सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि बुलडोजर चलाकर किसी का घर गिराना किसी अपराध की सजा नहीं है। सरकार जज बन कर बुलडोजर चलाकर किसी का घर गिराने का फैसला नहीं दे सकती। कोई चीज वैध है या अवैध, इसका निर्णय न्यायपालिका ही करेगी।यह अहम फैसला आज सुप्रीम कोर्ट ने जमीयत उलमा-ए-हिंद की ओर से गैरकानूनी बुलडोजर कार्रवाई को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनाया। गैरकानूनी बुलडोजर कार्रवाई पर रोक लगाने वाले इस फैसले का हम स्वागत करते हैं उम्मीद है की सुप्रीम कोर्ट के सख्त निर्देशों से बुलडोजर कार्रवाई पर लगाम लगेगी।

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